वोट डाल ले.
उत्तर प्रदेश में आज छठे चरण का मतदान कार्य चल रहा है और कहने को जो बुद्धिजीवी हैं मैंने जहाँ तक देखा है घरों में समाचार पत्र पढने में और टेलीविजन देखने में मशगूल हैं और जिसे ये बुद्धिजीवी अनपढ़ गंवार कहते हैं वे कभी अकेले और कभी मुहं ढक कर मतदान केन्द्रों की और जा रहे हैं क्या यही है हमारा अपने लोकतंत्र के प्रति कर्तव्य निर्वहन?अधिकार पाने को तो हम संघर्षों से सरकार की नाक में दम कर देते हैं और कर्त्तव्य के नाम पर ''इसे राजनीति की दलदल" कह पीछे हट लेते हैं .हम यदि अपने को जागरूक नागरिक कहते हैं तो हमें अपने कर्तव्य के प्रति भी जागरूक होना होगा और एक योग्य,ईमानदार सरकार का निर्माण अपने इन हाथों से करना होगा.साथ ही आप सुनिए ''शिखा जी ''का ये स्वयं लिखा व् स्वरबद्ध किया हुआ ये गाना जो आपको शायद सोते से जगा सकने में मेरे इस आलेख की अपेक्षा ज्यादा सक्षम होगा और यदि ये गाना आपको जरा भी इस कार्य में प्रेरित करे तो कृपया यहाँ बताना और वोट डालना मत भूलियेगा -
शालिनी कौशिक
टिप्पणियाँ
गजब का प्रेरक है.पर उनको सुन ही पाए बस.
काश!गाते हुए देख भी पाते.
अब तो वोट जरूर ही डालनी चाहिये.
हमारे यहाँ कल था वोटिंग का दिन.
टायफाइड से ग्रस्त था,पर शायद शिखा जी
की आवाज इतनी जोरदार थी कि वोट
डाल ही आया.
बहुत समय पूर्व आप मेरे ब्लॉग पर आयीं थीं.
समय मिले तो फिर से आईएगा.
आपके बहुमूल्य आकलन का इन्तजार करूँगा मैं.
बधाई !