अभिनेता प्राण को भावपूर्ण श्रृद्धांजलि -शालिनी कौशिक
नज़र सामने न कभी आयेंगे .
अगर देखें शीश उठाकर सभी ,
गगन में खड़े वे चमक जायेंगे .
शरीरों का साथ भी क्या साथ है ?
है चलती ही रहती मिलन व् जुदाई .
जो मिलते हैं अपनी आत्मा से हमें
न मध्य में आती किसी से विदाई .
ये फ़िल्मी सितारे अज़र हैं अमर हैं
हमारे ख्वाबों में रोज़ आया करेंगे .
भले भूल जाएँ हमको हमारे ही अपने
ये सबके दिलों पर छाये रहेंगे .
जो पैदा हुए हैं सभी वे मरेंगे ,
जो आये यहाँ पर सभी चल पड़ेंगे .
है इनकी कला का ये जादू सभी पर
ये जिंदा थे ,जिंदा हैं और जिंदा रहेंगे .
अभिनेता प्राण को भावपूर्ण श्रृद्धांजलि
शालिनी कौशिक
टिप्पणियाँ
आपको सूचित करते हुए हर्ष हो रहा है कि आपकी इस प्रविष्टि की चर्चा आज शनिवार (13-07-2013) को समय की कमी ने मार डाला में "मयंक का कोना" पर भी है!
सादर...!
डॉ.रूपचन्द्र शास्त्री 'मयंक'
जो आये यहाँ पर सभी चल पड़ेंगे .
है इनकी कला का ये जादू सभी पर
ये जिंदा थे ,जिंदा हैं और जिंदा रहेंगे .
बहुत सुन्दर अभिव्यक्ति .. आपकी इस रचना के लिंक की प्रविष्टी सोमवार (15.07.2013) को ब्लॉग प्रसारण पर की जाएगी. कृपया पधारें .