जनांदोलन की वास्तविकता
उत्तर प्रदेश नगर पालिका अधिनियम १९१६ के अधीन नगर पालिका के दो प्रकार के कर्तव्यों का उपबंध किया गया है अर्थात [१] अनिवार्य कर्तव्य तथा [२] वैवेकिक कर्तव्य .इस अधिनियम की धारा ७ [४] के अन्तर्गत यह उपबंध किया गया है कि प्रत्येक नगर पालिका का यह कर्तव्य होगा -
''सार्वजनिक सड़कों तथा स्थानों और नालियों की सफाई करना ,हानिकारक वनस्पति को हटाना और समस्त लोक उपताप का उपशमन करना ;''
किन्तु अब लगता है कि समस्त कार्य जनता के ही सिर पर पड़ने वाला है क्योंकि अब हमारे मोदी जी इसे एक जनांदोलन के रूप में देख रहे हैं और इसकी वास्तविकता को और गैर ज़रूरी बोझ को नहीं देख रहे हैं या देखते हुए भी नज़र अंदाज़ कर रहे हैं .
वास्तविकता तो ये है कि मोदी जी के आह्वान पर सलमान खान ,प्रियंका चोपड़ा जैसी हस्तियां इससे जुडी ज़रूर किन्तु जिस तरह से वे यहाँ विशिष्ट शख्सियत बनकर सफाई कर रही हैं ये केवल गंदगी को ही समझ में आ रहा है कि फ़िलहाल थोड़ी दूर रहो क्योंकि यहाँ फोटो खिंच रहा है और ज्यादा देर की तकलीफ इस कार्यक्रम से रहने वाली नहीं है और गैर ज़रूरी इसलिए कि ये कार्य जिस विभाग को कानून द्वारा सौंपा गया है यदि कानून को प्रभावी बनाते हुए उस विभाग को उसके कार्य को करने के लिए कर्तव्यबद्ध किया जाये तो इसे ऐसे नाटकों की आवश्यकता नहीं होगी जो प्रधानमंत्री जी सोशल मीडिया के जरिये कभी गन्दा स्थान दिखाते हुए फोटो अपलोड करने को कह रहे हैं ,फिर सफाई करते फोटो फिर साफ स्थान दिखाते हुए फोटो वीडियो अपलोड करने को कहते हैं .अगर प्रधानमंत्री जी अपने इस जनांदोलन की वास्तविकता ही देखना चाहते हैं तो जनता के बीच जाकर कहीं भी देख सकते हैं जहाँ स्वयं जनता और ये सरकारी विभाग ,जो इस कार्य हेतु नियुक्त हैं इस अभियान के विपरीत अस्वच्छ अभियान को जनांदोलन बनाकर उनके पवित्र अभियान को ठेंगा दिखा रहे हैं .
''सार्वजनिक सड़कों तथा स्थानों और नालियों की सफाई करना ,हानिकारक वनस्पति को हटाना और समस्त लोक उपताप का उपशमन करना ;''
किन्तु अब लगता है कि समस्त कार्य जनता के ही सिर पर पड़ने वाला है क्योंकि अब हमारे मोदी जी इसे एक जनांदोलन के रूप में देख रहे हैं और इसकी वास्तविकता को और गैर ज़रूरी बोझ को नहीं देख रहे हैं या देखते हुए भी नज़र अंदाज़ कर रहे हैं .
वास्तविकता तो ये है कि मोदी जी के आह्वान पर सलमान खान ,प्रियंका चोपड़ा जैसी हस्तियां इससे जुडी ज़रूर किन्तु जिस तरह से वे यहाँ विशिष्ट शख्सियत बनकर सफाई कर रही हैं ये केवल गंदगी को ही समझ में आ रहा है कि फ़िलहाल थोड़ी दूर रहो क्योंकि यहाँ फोटो खिंच रहा है और ज्यादा देर की तकलीफ इस कार्यक्रम से रहने वाली नहीं है और गैर ज़रूरी इसलिए कि ये कार्य जिस विभाग को कानून द्वारा सौंपा गया है यदि कानून को प्रभावी बनाते हुए उस विभाग को उसके कार्य को करने के लिए कर्तव्यबद्ध किया जाये तो इसे ऐसे नाटकों की आवश्यकता नहीं होगी जो प्रधानमंत्री जी सोशल मीडिया के जरिये कभी गन्दा स्थान दिखाते हुए फोटो अपलोड करने को कह रहे हैं ,फिर सफाई करते फोटो फिर साफ स्थान दिखाते हुए फोटो वीडियो अपलोड करने को कहते हैं .अगर प्रधानमंत्री जी अपने इस जनांदोलन की वास्तविकता ही देखना चाहते हैं तो जनता के बीच जाकर कहीं भी देख सकते हैं जहाँ स्वयं जनता और ये सरकारी विभाग ,जो इस कार्य हेतु नियुक्त हैं इस अभियान के विपरीत अस्वच्छ अभियान को जनांदोलन बनाकर उनके पवित्र अभियान को ठेंगा दिखा रहे हैं .
शालिनी कौशिक
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आभार
मेरे ब्लॉग पर स्वागत है।